घोघड़, चम्बा 01 मई : भरमौर वन मंडल के अंतर्गत चयनित वन मित्रों को उनका कार्य समझाने के लिए प्रशिक्षण आरम्भ हो गया है। वन चेतना केंद्र लाहल से आरम्भ से आरम्भ हुए इस प्रशिक्षण में चयनित वन मित्रों को आसपास की वन भूमि में ले जाकर कार्यक्षेत्र में उनके कर्तव्यों से सम्बन्धित जानकारी दी जा रही है । वन मंडल अधिकारी भरमौर शिवाजी नवनाथ सिंह माने ने इस प्रशिक्षण शिविर में वन मंडल भरमौर के 39 वन मित्रों को वन संरक्षण से जुड़े विभिन्न पहलुओं पर प्रशिक्षण प्रदान किया ।
कार्यक्रम में नवनाथ माने शिवाजी ने वन मित्रों को भविष्य के लिए शुभकामनाएं देते हुए कहा कि आज के युग में वनों का संरक्षण न केवल पर्यावरणीय दृष्टिकोण से जरूरी है, बल्कि इसका सीधा संबंध जलवायु परिवर्तन, जैव विविधता और स्थानीय समुदायों की आजीविका से भी है। उन्होंने वन मित्रों से आह्वान किया कि वे स्थानीय स्तर पर लोगों को वनों के प्रति जागरूक करें और वृक्षारोपण, वन अग्नि से बचाव, तथा वन्य जीव संरक्षण जैसे कार्यों में सक्रिय भूमिका निभाएं।
1 से 5 मई, 2025 तक वन मित्रों को विभागीय कार्यप्रणाली, वन अग्नि प्रबंधन, नर्सरी संचालन, विविध वृक्षारोपण कार्यक्रम, और समग्र वन प्रबंधन के बारे में वन परिक्षेत्रों में विशेष प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। इस अवसर पर वन मित्रों को प्रेरित करते हुए कहा कि वन विभाग के लिए उनकी भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है और भविष्य में विभाग उनसे निष्ठा और तत्परता की अपेक्षा करता है।
इस अवसर पर वन परिक्षेत्र अधिकारी भरमौर नेजर सिंह, जगदीश चंद, वन रक्षक संजय कुमार, सोनू ‘मनीष कुमार ने वनों में प्राकृतिक रूप से उगने वाले पौधों, रिक्त वन भूमि, हिमस्खलन प्रभावित भूमि, चारागाहों में पौधा रोपण की आवश्यकता के बारे में जानकारी दी।