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घोघड़ , चम्बा (भरमौर), 10 अप्रैल : देवभूमि भरमौर के पुराना बस अड्डे के मुख्य द्वार पर स्थापित देव प्रतिमाओं के समीप बनी मीट की दुकानों को हटाने की मांग को लेकर बजरंग दल के अध्यक्ष अनिल ठाकुर ने उपमंडल अधिकारी नागरिक (SDM) भरमौर को ज्ञापन सौंपा। उनका कहना है कि यह धार्मिक भावनाओं का सीधा अपमान है और इसके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए।

बजरंग दल अध्यक्ष अनिल ठाकुर का कहना है कि भरमौर स्थित चौरासी मंदिर देवालयों, भरमाणी माता मंदिर सहित मणिमहेश तक के लिए श्रद्धालुओं को पुराना बस अड्डा भरमौर से होकर गुजरना पड़ता है। किन्तु यहां पहुंचते ही सड़क किनारे मांस की दुकाने व उनके बाहर आवारा कुत्ते मांस के टुकड़े की आस में बैठे दिखते हैं जिससे श्रद्धालुओं की धार्मिक भावनाएं आहत तो होती ही हैं, आवारा कुत्तों से लोगों की सुरक्षा भी दांव पर रहती है।

उन्होंने कहा कि मुख्यद्वार पर ही देव प्रतिमाएं स्थापित हैं और इसके साथ ही मांस विक्री की दुकान है। लोग मांस की दुकानों को चौरासी मंदिर मार्ग से हटाना चाहते हैं जिसके लिए भरमौर प्रशासन को कई बार ज्ञापन भी सौंपे गए हैं परंतु अब तक कोई सकारात्मक हल नहीम निकला है। अनिल ठाकुर ने कहा कि “देव प्रतिमाएं क्षेत्र की सांस्कृतिक और धार्मिक अस्मिता की प्रतीक हैं, और उनके पास मांस की दुकानें होना अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण और आस्थावानों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाला है।”

उन्होंने मांग की है कि दुकानों को अन्यत्र स्थानांतरित किया जाए और भविष्य में इस प्रकार की स्थिति दोबारा उत्पन्न न हो, इसका भी स्थायी समाधान निकाला जाए।

इस मांग पर प्रतिक्रिया देते हुए एसडीएम भरमौर कुलबीर सिंह राणा ने एक वैकल्पिक समाधान सुझाते हुए बताया कि “यदि संबंधित दुकानदार सहमत हों, तो साडा (SADA) की 5 बंद पड़ी दुकानों में उन्हें शिफ्ट किया जा सकता है।”।
यह प्रस्ताव उस स्थिति में लागू होगा जब सभी संबंधित दुकानदार स्थानांतरण के लिए सहमत हों।

प्रशासन ने गेंद अब दुकानदारों के पाले में डाल दी है। यदि वे सहमत होते हैं, तो वर्षों से बंद पड़ी साडा की दुकानें फिर से उपयोग में लाई जा सकती हैं और विवाद भी शांत हो सकता है।


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