घोघड़, चम्बा 30 अगस्त : पहले चरण की यात्र समाप्त होने के बाद मणिमहेश न्यास दूसरे चरण की यात्रा प्रबंधों में जुट गया है। पहले चरण में आई कमियों को पूरा करने के लिए न्यास अब गम्भीर दिखने लगा है। पहले चरण में ट्रैफिक जाम व पार्किंग समस्या के कारण श्रद्धालुओं व स्थानीय लोगों के निशाने पर आए प्रशासन ने जन्माष्टमी स्नान के बाद मणिमहेश मार्ग पर व्यवस्थाओं की पड़ताल कर उन्हें और पुख्ता करने के निर्देश मणिमहेश यात्रा ड्यूटी में जुटे अधिकारियों को दिए हैं।
माना जा रहा है कि यात्रा के जन्माष्टमी स्नान तक करीब 02 लाख श्रद्धालु मणिमहेश झील में स्नान कर चुके थे जबकि प्र्शासन के पास तब तक करीब 15 हजाऱ श्रद्धालुओं ने पंजीकरण करवाया था जबकि प्रशासन ने जन्माष्टमी स्नान के 24 घंटों में 01 लाख श्रद्धालुओं के स्नान किए जाने दावा किया था। प्रशासन ने एक लाख का आंकड़ा कहां से लिया था यह तो उसे भी पता नहीं परंतु इतना आवश्य है कि इस वर्ष श्रद्धालुओं की संख्या में अप्रत्याशित वृद्धि हुई है।
मणिमहेश न्यास ने यात्रा से पूर्व इसकी तैयारियों के लिए खूब बैठकें भी की थी परंतु उसके मातहत कार्य करने वाले अधिकारी बैठकों में डींगे हांकते रहे यात्रा में उनके कार्यों की पोल खुली तो वे अब बगलें झांक रहे हैं।
इस मामले में अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी भरमौर कुलबीर सिंह राणा साहस दिखाते हुए यात्रा से जुड़े तमाम खामियों की जिम्मेदारी लेते हुए कहा कि हमने अपनी ओर से भरपूर प्रयास किए हैं। परंतु यात्रियों की अप्रत्याशित संख्या व कुछ साधनों की कमी के कारण कुछ मुद्दों पर यात्रियों की शिकायतें भी आयी हैं। उन्होंने कहा कि सुनराशि के पास नाले को पार करने वाले वीडियो में दिखने वाले श्रद्धालु जबरन गलत मार्ग को चुनकर उस ओर गए थे। जबकि एसडीआरएफ के दल ने उन्हें उस मार्ग से जाने से रोका भी था।
अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी ने कहा कि राधाष्टमी स्नान के लिए वे सिरे से योजनाबद्ध तरीके से कार्य करने जा रहे हैं।
गौरतलब है कि मणिमहेश यात्रा 2024 के दौरान भरमाणी सड़क मार्ग की दशा बिलकुल नहीं सुधारी गई कई स्थानों पर सड़क संकरी व कीचड़ भरी हो चुकी थी जिस कारण दो दिन पूर्व भरमाणी सड़क मार्ग पर वाहन दुर्घटना का शिकार हुआ और उसमें तीन लोगों की मौके पर ही मृत्यु हो गई।
ट्रैफिक जाम की समस्या पर काबू पाने के लिए पिछले दो वर्षों से हड़सर-सूंकू की टपरी वाया बलमूई सड़क मार्ग को चालू करने के दावे किए जा रहे हैं लेकिन लोनिवि दावों से आगे नहीं बढ़ पा रहा। इसी कड़ी में एनएच 154ए को ददवां के पास भरमाणी रोड़ से जोड़ने के लिए लोनिवि गत वर्ष से ही दावे कर रहा है लेकिन कार्य भी पूरा नहीं हो पाया है। पट्टी से भरमाणी वाया मलकौता रोड़ की दशा इतनी बदहाल है कि एक बार इस मार्ग से गुजरा वाहन चालक अन्य लोगों को भी इस ओर से यात्रा करने से परहेज करने की सलाह देते हैं।
इन तमाम समस्याओं में से एक पंजीकरण पर न्यास ने गम्भीरता दिखाना आकम्भ कर दिया है । न्यास ने तुणूहट्टी, लाहड़ू, कलसूईं इत्यादि स्थानों पर भी यात्री पंजीकरण केंद्र खोल दिए हैं । इसके अलावा गूईं नाला में भी ऑफलाईन पंजीकरण केंद्र स्थापित कर दिया गया है जिस कारण आज यात्रियों के पंजीकरण का आंकड़ा तीन गिना से अधिक बढ़ गया है । मणिमहेश न्यास की वैबसाईट पर आज 3593 लोगों ने पंजीकरण करवाया है जबकि ऑफलाईन पंजाकरण करवाने वाले यात्रियों की संख्या दो हजार से अधिक रही है।
हालांकि अभी भी सभी यात्री पंजीकरण नहीं करवा रहे इसके बावजूद पंजीकरण की संख्या को ही श्रद्धालुओं की सही स्ख्या मान लिया जाए तो हर दिन करीब 6 हजार श्रद्धालु मणिमहेश यात्रा पर जा रहे हैं। जबकि असली संख्या इससे कहीं अधिक है।