घोघड़, चम्बा 10 सितम्बर : मणिमहेश यात्रा के राधाष्टमी स्नान के लिए बेसब्री से इंतजार करने वाले श्रद्धालुओं का इंतजार आज आखिरकार समाप्त हो गया। दोपहर बाद करीब 1.30 बजे शिव चेलों ने मणिमहेश डल झील को पार कर श्रद्धालुओं को यात्रा की सफलता का आशीर्वाद दिया।
शिव चेलों द्वारा झील पार करने के दृश्य को देखने के लिए हजारों श्रद्धालु वहां एकत्रित हुए थे। चेलों के डल झील पर पहुंचने के बाद झील के आसपास तिल धरने के लिए स्थान नहीं बचा। डल झील पार करने के पश्चात शिव चेलों ने झील के पास ही रात्रि पड़ाव के लिए डेरा जमा लिया है जहां वे रात को शिव को नुआला अर्पित करेंगे व कल सुबह वहां भरमौर की ओर रुख करेंगे।
सरकारी तंत्र के अनुसार आज 20 हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने मणिमहेश झील में स्नान किया है जबकि इतनी संख्या में श्रद्धालु कल भी स्नान करेंगे। मणिमहेश यात्रियों की गणना का न कोई पुख्ता आकड़ा है व न ही स्टीक गणना की कोई व्यवस्था है । यह संख्या मणिमहेश न्यास द्वारा किए जा रहे पंजीकरण की संख्या को आधार मानकर अनुमानित की जा रही है।
गौरतलब है कि मणिमहेश न्यास की वैबसाईट पर अब तक कुल 57,870 यात्रियोे ने पंजीकरण करवाया है पिछले तीन दिनों में करीब 10 हजार लोगों ने पंजीकरण करवाया है। इस संख्या में ऑफलाईन पंजीकरण करवाने वाले श्रद्दालुओं की संख्या शामिल नहीं है जोकि इसी संख्या के बराबर हो सकती है।
चूंकि यात्रियों की बड़ी संख्या पंजीकरण से किनारा किए हुए है इसलिए माना जा रहा है कि मणिमहेश में स्नान करने वाले श्रद्धालुओं की संख्या पंजीकृत श्रद्धालुओं की संख्या से तीन गुना अधिक हो सकती है। आज केवल 85 लोगों ने ही ऑनलाईन माध्यम से पंजीकरण करवाया है ।
क्षेत्र के प्रसिद्ध ज्योतिष पंडित ईश्वर दत्त शर्मा बताते हैं कि राधाष्टमी पर्व 10 सितम्बर रात्रि 11.00 से आरम्भ होकर 11 सितम्बर रात्रि 11.46 बजे तक रहेगा। इस अवधि में मणिमहेश झील में स्नान करना फलदायक है।
यहां यह जानना आवश्यक है कि मणिमहेश यात्रा को जन्माष्टमी से राधाष्टमी के बीच की अवधि के रूप में प्रचारित किया जाता है जबकि वास्तव में यह अवधि मणिमहेश झील में स्नान करने की है । मणिमहेश यात्रा की अवधि का कोई समय नहीं है। बर्फ पिघलने के बाद श्रद्धालुओं का मणिमहेश यात्रा पर जाना आरम्भ हो जाता है जोकि जून से नवम्बर माह दीपावली पर्व तक जारी रहता है।
मणिमहेश झील में स्नान करने के पश्चात श्रद्धालुओं के लौटने का सिलसिला अब आरम्भ हो गया है।